Cute Hijabi Lady
मेरा नाम श्लोक है। मैं लखनऊ का रहने वाला हूँ। यहाँ पर बड़ी मात्रा में हिन्दू मुसलमान साथ साथ रहते है। क्यूंकि यहाँ पर आबादी बहुत है और रहने वाले लाखो लोग है। मेरे घर के ठीक सामने वाले मकान में एक मुसलमान औरत रहने आ गयी थी। Cute Hijabi Lady
वो अभी किराए पर अपनी फेमिली के साथ रह रही थी। पहले मैं उससे जादा बात नही करता था। मैं फर्स्ट फ्लोर पर रहता था। वो भी फर्स्ट फ्लोर पर रहती थी। कई बार जब उसे बुर्के में देखता था तो उसका चेहरा देखने का मन करता था।
कुछ दिन बाद मेरी उससे अच्छी दोस्तों हो गयी। उसका नाम परवीन था। बहुत सुंदर औरत थी वो। हम दोनों के मकान आपने सामने और काफी पास थे। बीच में एक पतली सी गली थी। जब वो सामने बालकनी में कपड़े सुखाने आती थी तो मेरी उससे बात हो जाती थी।
“क्या तुम अकेली हो??” तुम्हारे हसबैंड नही दिखते है” मैंने उससे एक दिन पूछा.
“मेरे हसबैंड ने मुझे तलाक दे दिया है। वो जहाँ पर जॉब करते थे वही पर किसी लड़की को पटा लिया है। अब उसकी ही चूत मारते है” परवीन बोली.
फिर रोज ही मेरी उससे बात होने लगी। फिर फोन पर बात शुरू हुई। एक दिन रात में मेरा उससे मिलने का बड़ा मन कर रहा था। मैं परवीन को काल किया।
“तेरे कमरे में आ रहा हूँ” मैंने कहा.
“कैसे आओगे?? घर में तो सब लोग है” वो कहने लगी.
“जब रात हो जाएगी और जब सब सो जाएँगे तब आऊंगा” मैंने कहा.
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उसके बाद दोस्तों जैसे ही परवीन के घर में सब लोग सो गये मैं अपनी बालकनी से ही कूद गया उसके मकान में। पहले हमारा किस होने लगा। परवीन भी उतना ही बेकरार लग रही थी। वो आज गुलाबी कलर का चमकीले कपड़े वाला सलवार सूट पहने थी जैसा अक्सर मुस्लिम औरते पहनती है। मैंने उसके होटो को चूसना शुरू किया। उसके होट बहुत जूसी थे। काफी खूबसूरत औरत थी वो। वैसे ही मुसलमानों में लड़कियाँ अच्छी होती है।
“तुम मुझे बहुत अच्छे लगते हो श्लोक!!” परवीन कहने लगी.
“जाने जिगर!! जाने तमन्ना!! तुम भी किसी हूर से कम नही हो” मैंने कहा और खूब किस किया।
उसके जूसी होटो को दांत से काट काटकर गरमा दिया। फ्रेंड्स मैंने आपको बताया ही नही की परवीन का फिगर 36 32 38 का था। उसके दूध काफी बड़े बड़े थे। उसके पति ने उसे कई साल चोदा था और दूध को हाथ से मसल मसल के बड़ा कर दिया था। उसकी गांड भी काफी भारी थी। परवीन भले ही मुसलमान औरत थी पर देखने में हिन्दू लगती थी।
मैंने उसे काफी देर तक गले से लगाये रहा और उसे प्यार करता रहा। मैंने अब उसके गालो को दांत से काटना शुरू किया। वो “ओह्ह माँ….ओह्ह माँ…उ उ उ उ उ……अअअअअ आआआआ….” करने लगी। उसके कमीज से उसकी बड़ी बड़ी चूचियां मेरे ठीक सामने थे। मैंने हाथ लगा लगाकर दबाना और मसलना शुरू किया। खूब मजा दिया उसे।
“क्या करना है श्लोक??” वो पूछने लगी.
“तू बता??” मैंने मजाक करते हुए कहा.
हम दोनों ही हँसने लगे। फिर वो बेड पर जाकर लेट गयी। मैंने उसके सूट को उतरवा दिया। ब्रा खोलकर वो नंगी होकर लेट गयी। मैंने उसकी चूची को छूना शुरू किया। परवीन की एक एक चूची इतनी चिकनी थी की मेरे तो हाथ ही फिसल जा रहे थे। मुझे तो सिर्फ छूकर ही मजा मिल रहा था।
उसके दूध बिलकुल सफ़ेद थे दूध की तरह। और चूचको के चारो ओर लाल लाल गोले बहुत कामुक दिख रहे थे। मैंने पहले खूब दबाया, फिर मुंह में लेकर चूसने लगा। परवीन “ओहह्ह्ह…. अह्हह्हह… अई.. अई.. अई… उ उ उ उ उ…” करने लगी। उसे भी बहुत मजा आ रहा था। मैं दबा दबा कर रस निकाल रहा था। मैं दांत चुभा चुभा कर चूस रहा था। मैंने मन भरके उसके मम्मे चूस लिए। वो मेरी पेंट के उपर से लंड को सहलाने लगी।
“क्या कर रही है जाने बहार??” मैंने कहा.
“मुझे अपना लौड़ा दिखाओ” परवीन कहने लगी.
मैंने जल्दी जल्दी कपड़े उतारे। अपनी पेंट खोली। फिर अंडरवियर खोली और उसे अपना लौड़ा दिखा दिया। वो मेरे 8” के सिलबट्टे जैसे दिखने वाले लौड़े को पकड़कर फेटने लगी। मैं बेड के साइड जाकर बैठ गया। परवीन मुठ दे देकर खड़ा करने लगी।
मुझे आनन्द आने लगा। कितने दिनों बाद कोई लड़की मेरे लंड से खेल रही थी। फिर वो मुंह में लेकर चुसना चालू कर दी। मुझे बहुत अच्छा लग रहा था। अलग तरह की मस्ती आ रही थी। मैं उसके सिर को पकड़कर लंड पर दबा देता था।
परवीन को लंड चूसने की खास ट्रेनिंग मिली हुई थी। वो मेरे 8” लौड़े को अच्छे से मुठ दे रही थी। अपनी उँगलियों से पकड़कर जल्दी जल्दी फेट रही थी। मेरे लंड से माल बाहर आने लगा था। पहले तो खूब चूसा उसने। मुझे खूब मजा दिया।
“गोली भी चूसो जान!” मैंने कहा.
उसके बाद वो होशियार औरत की तरह मेरी गोलियों को पकड़ पकड़कर मुंह में डाल दी और चूसने लगी। मुझे बहुत आनन्द मिल रहा था। गोलियों चूसने से मेरा लंड कुछ जादा ही सख्त हो गया था। मैंने अपने लंड को पकड़ा और जल्दी जल्दी फेटने लगा, उसे ताव देने लगा।
ऐसा लग रहा था की आज वो भी कई सालो बाद चुदाई करने जा रही है। फिर वो बेड पर लेट गयी। पहले सोचने लगा की क्या चीज पहले चूसो। इसकी चूची या चूत। फिर मैंने उसकी चूत चाटना ही बेहतर समझा।
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“अपनी चूत के दीदार करवाओ परवीन!!” मैंने कहा.
वो दोनों पैर खोल दी। उसकी बोडी कुछ जादा ही सेहतमंद थी। क्यूंकि मुस्लिम औरतो नियमित तौर पर मांस मछली खाया करती है। इसलिए उसके पैर, पेट, चूचियां और पूरा बदन भी काफी गद्दे जैसा था। उसकी चूत भी किसी पाव वाले ब्रेड से कम न थी। उभरी उभरी और फूली फूली।
मैंने सोचा की शुभ काम में देर क्या करना। मैंने उसकी चूत का उद्घाटन कर दिया। जल्दी जल्दी मुंह में लेकर चाटने लगा। उस मुसलमान औरत की खूबसूरत चूत को मैं उपर वाले का तोहफा समझकर पीने लगा। अपनी जीभ निकाल निकालकर चाटने लगा। ऐसे में परवीन भी पागल होने लगी।
“आआआअह्हह्हह…..ईईईईईईई….ओह्ह्ह्….अई. .अई..अई…..अई..मम्मी….” बोलकर अपनी कमर उठाने लगी। उसकी बुर काफी सेक्सी और कामुक थी। रबड़ी जैसी लाल लाल थी जैसे प्योर दूध को गर्म करने पर उपर लाल लाल मलाई जम जाती थी। उसी तरह से थी।
मैंने खूब चाटा उसकी मशीन को। परवीन चुदासी औरत बन गयी। उसकी चूत के दोनों साइड के होठ भी कम सेक्सी नही थे। मैं उनको दांत से पकड़ पकड़कर चूस डाला। उसकी बुर पहले तो सूखी थी। पर मेरे सेक्सी करतब से अब रस से भीग गयी। अब वो भी चुदने का इंतजार करने लगी।
“श्लोक बेबी!! क्या सिर्फ चूसते ही रहोगे या चोदोगे भी??” परवीन कहने लगी.
मैंने फिर अपने 8” लंड को फेटना शुरू किया और अच्छे से खड़ा कर दिया। उसकी मशीन में लगा दिया और चूत चोदने लगा। चूत गीली होने की वजह से मेरा लंड किसी पिस्टन की तरह बड़े आराम से अंदर बाहर हो रहा था। परवीन की चूत में गोश ही गोश था इसलिए मुझे भी काफी मजा आ रहा था। पहले मैंने बैठकर 10 मिनट उसकी चूत मारी।
“आओ मुझे प्यार करो” वो कहने लगी.
मैं समझ गया की वो क्या कर रही है। मैं अब उसके उपर लेट गया और उसे दोनों बाहों में कसके भींच लिया। मेरे सामने वाली मुसलमान औरत रोमांटिक टाइप की चुदाई की डिमांड कर रही थी। इसलिए मैंने भी उसे दोनों बाहों में कसके दबा लिया और होठ चूसते हुए उसकी चूत फाड़ने था।
मेरा लंड उसकी बुर में गहराई में जाकर गड़ गया था। जैसे किसी हिन्दुस्तानी सिपाही ने पाकिस्तान की जमीन पर अपने देश का झंडा गाड़ दिया हो। मैं सटासट उसकी चूत में धक्के लगाने लगा। परवीन मुझे “love you श्लोक!! love you श्लोक!!” बोलने लगी.
वो मुझे उसी तरह से प्यार कर रही थी जैसे कोई औरत अपने शौहर से प्यार करती है। मैंने भी उसे दोनों बाहों में पकड़कर, उसे सीने से लगाकर खूब चोदा। खूब पेला उसे। कोई शिकायत का मौका नही दिया। कामुकता में आकर मैंने कितने बार उसके गोरे गालो पर दांत चुभा दिया और काट लिया। उसे दर्द हुआ पर मजा भी खूब आया। मैंने परवीन की चुदाई जारी रखी। 20 मिनट उसकी चूत मारी। फिर भी मेरा माल नही गिरा।
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“रंडी!! आज तेरी चूत को फाड़ दूंगा। इसकी छीछालेदर कर दूंगा” मैंने चुदाई के नशे में कहा.
“फाड़ डालो मेरी भोसड़े को आज!! मैं भी तैयार हूँ” परवीन किसी छिनाल की तरह कहने लगी.
मेरी वासना को नई मंजिल मिल गयी थी। आज उसे मैं बुरी तरह से चोदने जा रहा था। उसके भोसड़े में मुट्ठी करने की तीव्र आग मेरे दिल में लग गयी।
“रंडी!! तेरी चूत में मुट्ठी करूंगा। सह लेना” मैंने कहा.
मैंने जेब से एक कंडोम निकाला और उसे हाथ में पहन लिया। आप लोग तो जानते ही होंगे की कंडोम कितना चिकना होता है। अब धीरे धीरे मैंने अपनी मुट्ठी परवीन की चूत में डालनी शुरू कर दी। उसकी चूत रबर जैसी दिख रही थी।
धीरे धीरे मेरी पांचो उँगलियाँ उसके भोसड़े में चली गयी। मुझे आज से जादा सुख कभी नही मिला था। मैं फिर धीरे धीरे हाथ बाहर निकाल लिया। परवीन “……मम्मी…मम्मी…..सी सी सी सी.. हा हा हा …..ऊऊऊ ….ऊँ. .ऊँ…ऊँ…उनहूँ उनहूँ…..” करने लगी।
उसकी हालत पतली थी। आज तक उसके मर्द ने भी उसकी चुद्दी में मुट्ठी नही डाली थी। ऐसा काम तो मेरे जैसा कमीना इंसान ही कर सकता था। मैंने फिर से अपनी उँगलियों को एकत्र किया और मुट्ठी बनाकर धीरे धीरे फिर से उसके बड़े से भोसड़े में पंहुचा दिया। परवीन जोर जोर से चिखने लगी।
उसकी आवाजे मुझे चार गुना जादा मजा दे रही थी। इस तरह से मैं अनेक बार मुट्ठी डाली। डालता, फिर निकाल लेता। फिर डाल देता, फिर निकाल लेता। मैंने हाथो में कंडोम पहन रखा था इसलिए मेरा हाथ काफी चिकना हो गया था। मैंने 20 30 बार उसकी चूत में मुठ्ठी कर डाली। मुझे बहुत मजा मिला।
“चलो डौगी बन जाओ परवीन” मैंने कहा.
वो तुरंत ही कुतिया वाले पोज में आ गयी। मैं किसी कुत्ते की तरह पीछे से आकर उसकी चूत चाटने लगा। फिर अपना 8” लंड मैंने डाल दिया और जल्दी जल्दी चोदने लगा। उसकी कमर पकड़कर मैंने बड़ी जल्दी जल्दी उसे पेला।
वो ““उ उ उ उ उ……अअअअअ आआआआ… … हा हा.. ओ हो हो….” करने लगी। मैंने उसके बालो को पकड़ लिया और अपने सीधे हाथो में लपेट लिया। और जोर जोर से कमर आगे पीछे करके चोदने लगा। वो मुसलमान औरत अपने होठो को चबाने लगी।
“हूँउउउ ….ऊँ—ऊँ…ऊँ सी सी… पेलो पेलो और पेलो मुझे!! मेरी चूत की चटनी कर डालो श्लोक” परवीन कहने लगी.
मैंने उसके दोनों बड़े बड़े चूतड की पिटाई शुरू कर दी। जोर जोर से चांटे उसके चूतड़ पर लगाने लगा। फ्रेंड्स परवीन के चूतड़ इतने सफ़ेद और लाल लाल थे की जहाँ पड़ता था मेरी उँगलियों छप जाती थी। मैं जोर से तडपा तड़पा कर, मार मारकर चोद रहा था। मैंने 15 उसकी चूत चोदी। फिर बाहर लंड निकाल लिया।
“रुक क्यों गये श्लोक??” परवीन कहने लगी.
“तेरी भूखी चूत को आज अच्छी खुराक मिल गयी है। पर तेरी गांड अभी भी प्यासी है। अब इसका नम्बर है” मैंने कहा.
वो मुसलमान औरत परवीन अपने घुटनों को मोड़कर और हाथो पर कुतिया बनी रही। मेरा अगला टारगेट उसकी गांड थी। मैं जल्दी जल्दी चाटने लगा। उसे फिर से सुख मिलने लगा। मैं आज उसके किसी भी छेद को बकसना नही चाहता था। सभी छेदों को चोदना चाहता था।
मैं जीभ लगा लगाकर उसकी गांड पीने लगा। वो “….उंह उंह उंह हूँ.. हूँ… हूँ..हमममम अहह्ह्ह्हह..अई…अई…अई…..” करने लगी। मैंने उसे 5 6 मिनट सिर्फ गर्म किया। फिर लंड को उसकी गांड में घुसा डाला। फ्रेंड्स उसकी गांड तो बहुत ही कसी हुई थी। इस वजह से मेरा लंड सिर्फ 4” ही अंदर घुस पाया था।
मैं चालू हो गया। जल्दी जल्दी अंदर बाहर करने लगा। कुछ देर बाद सबसे बड़ा चमत्कार अपने आप हो गया। उसकी गांड अंदर से चिकनी हो गयी और पूरा 8” लंड अंदर खा ली। परवीन भी बहुत अधिक यौन उत्तेजना प्राप्त करने लगी। वो अपनी गांड खुद ही आगे पीछे करने लगी। इस तरह से खुद ही चुदाने लगी।
“बहुत अच्छा कर रही हो जानेतमन्ना!! इसी तरह अपनी गांड को आगे पीछे चलाओ!!” मैंने कहा.
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उसके बाद बड़ा मजा लूटा हम दोनों ने। उसकी कुवारी गांड में थूक थूक कर मैंने चोदा और माल भी उसी में गिरा दिया। ज्योही लंड बाहर निकाला उसकी गांड किसी स्पंज वाले छेने की तरह माल को बाहर फेकने लगी। मैंने फिर से जीभ लगाकर उसकी गांड पीनी शुरू कर दी। मैंने उस पहली ही रात में उसकी अच्छे से खातिर कर दी। फिर कपड़े लेकर अपने घर चला आया। दूसरी दिन जैसे ही रात हुई मैं उसके पास जाने का वेट करने लगा। फिर उसके पास पंहुचा गया।
आज भी उससे पहले खूब लंड चुस्वाया। फिर उसकी चूत और गांड चोदी। इस तरह से अब रोज ही रात होने पर मैं अपने सामने वाली मुसलमान औरत के घर चला जाता था। पर दोस्तों एक दिन उसके घर वालो को हमारे चक्कर के बारे में पता चल गया। मुझे भी उन लोगो ने खूब मारा पीटा और उसे भी खूब मार पड़ी। उसके बाद उसके घर वाले उस मकान को खाली करके चले गये। पर परवीन जैसी सेक्सी औरत की खूबसूरत चूत की याद मुझे आज भी आती थी।