Torture Porn
यह कहानी 8 महीने पहले की है मेरे घर के पास ही एक भाभी रहने आई उसके साथ ही उसकी 2 साल की बच्ची भी थी जबसे वो हमारे घर के पास रहने आई मेरी नजर तब से उसके ऊपर थी उसका गोरा रंग भूरे बाल सुन्दर चेहरा अच्छी और बड़ी आंखें उसकी लम्बाई 5 फिट 3 इंच थी उसका फिगर 36-30-36 था उसकी चूचियां बहुत सुंदर और गोल साईज में थी उसकी गांड़ लहराती हुई चुलबुली थी। Torture Porn
मेरी गली में हर आदमी उसे पाना चाहते थे मगर किस्मत मेरी लगी वह बहुत मिलनसार और रहन-सहन में फैशनेबल थी। वह एक निजी कंपनी में काम करती थी मगर बच्चा होने के बाद बच्चे की परवरिश के कारण उसने जॉब से रिजाइन दे दिया। उसका पति एक सरकारी ऑफिस में काम करते थे जो की दूसरे शहर में रहते थे.
इसलिए उसका पति हफ्ते में 2 दिन ही घर पर आता था। उसका नाम दामिनी था आप लोग सोच रहे होगे की उसकी सुंदरता की भी में ज्यादा ही तारीफ कर रहा हूं। लेकिन सच में वह बहुत सुंदर थी में उसके करीब जाने लगा क्योंकि वो मेरी पड़ोसी थी तो उसका मेरे घर आना जाना लगा रहता था तो हमारी बातचीत हो जाती थी।
बाद में हमारी अच्छी दोस्ती भी हो गई में भी अक्सर उसके घर जाता था जब मेरे पास समय रहता एक बार जब में उसके घर गया तो उसने मुझे बच्चे को संभालने के लिए कहा (भले ही वो सो रहा था). वह घर का कुछ समान लेने मार्केट गई थी मैने हा कहा में उसके घर में अकेला था तो सोचा क्यों उसका घर देखा जाए.
उसके घर में घूमते हुए में एक कमरे में गया वहां बहुत सारी अच्छी चीजे पड़ी थी मैने वहा रखा एक दराज खोला तो उसमें एक कंडोम पड़ा था शायद उसका पति लाया हो फिर उसके बेडरूम में गया तो वहा मुझे कुछ गंदे कपड़े जो धोने के लिए रखे होगे उसने कुछ सेक्सी ब्रा और पेन्टी एक नाइटी और कुछ अन्य कपड़े थे.
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मैने उसकी पेंटी को उठा कर सूंघा क्या मस्त खुशबू आ रही थी जिससे में मदहोश हो रहा था मैने वापिस उसकी पेंटी जहां पड़ी थी वहीं रख दी और आगे मैने वो देखा जिसकी में कल्पना भी शायद करता मुझे एक डिल्डो वाइब्रेटर दिखा शायद वह अपनी पति कि गेर हाजिरी में वह अपनी चुद की आग इससे ठंडी करती है।
और उस समान के साथ एक टेबलेट पड़ा था मैने उसे ओपन कर उसकी और उसके पति कि सेक्स चैट पड़ी मगर मुझे ऐसा लगा ये गलत है किसी की पर्सनल मेसेज नहीं देखने चाहिए मगर मैने उसके चेट में उसके पति का लंड कि फोटो देखी तो उसके पति का लंड बहुत छोटा था.
में सोच रहा था कि सुंदर औरत को छोटे लंड वाला पति मिला जब ही उसके घर में डिल्डो पड़ा है। फिर में वापिस अपनी जगह पर आकर बैठ गया थोड़ी देर में भाभी भी आ गई और वहा से में अपने घर आ गया एक दिन ऐसा हुआ कि पास ही मार्केट से पैदल घर आ रहा था कि रास्ते में मुझे भाभी दिखी साथ ही गोद में उसकी बच्ची भी थी और दोनों हाथ में सामान था।
इसलिए ये सोच कर में भाभी की मदद करने उनके पास गया और कहा क्या भाभी पैदल जा रहे हो इतना सामान लेकर मुझे बोल दिया होता तो में गाड़ी से लेकर चलता आप को। भाभी ने कहा मार्केट पास ही था तो सोचा पैदल ही लेकर आजाऊ सामान दो मैने कहा लाओ भाभी सामान में लेकर चलता हूं घर.
मगर उसने मना कर दिया नहीं बहुत भारी है में आप को कोई तकलीफ़ नहीं देना चाहती मगर मेने अपनी दोस्ती की कसम दी तब उसने मेरी बात मानी वह अपनी बच्ची को गोदी में से उतारने के लिए जैसे ही झुकी लेकिन बच्ची आसानी से गोदी में से उतरने के लिए तेयार नहीं थी सारी दोस्तो बताना ही भूल गया उसने क्या पहना था।
उसने दुपट्टे के साथ एक गहरा वी-कट सलवार पहना था। जैसे ही उसने बच्ची को नीचे उतारा बच्ची ने उसके सलवार के एक किनारे को पकड़ लिया और उसे नीचे खींच दिया क्योंकि उसके दोनों हाथ में सामान थे इसलिए जब तक उसने वापिस दुपट्टे को पहना जब तक मैने उसके दोनों चूचियों के बीच की लकीर और क्या गोरी चूचियां थी जो बहार आने के लिए मचल रही थी।
उसने काले रंग कि ब्रा पहनी थी उसकी आधी चूचियां मुझे दिख रही थी. जैसे तैसे में अपने आप को कंट्रोल कर रहा था। मैने उसका सामान उठाया और उसने बच्ची को वापिस गोद में लिया और हम घर की तरफ चल दिए जब हम उसके घर पहुंचे फिर से बच्चे को नीचे उतारने के लिए झुकी ताकि दरवाजा खोलने के लिए चाबी निकाल सके.
मगर फिर से उसकी बच्ची ने इस बार सलवार पकड़ खींचा तो उसके कुछ ऊपर के बटन खुल गए उसी हालत में उसने दरवाजा खोला और अपनी बच्ची को अंदर ले गई मैने उसका सामान किचन में रखा वह अपनी बच्ची को सुलाने की कोशिश कर रही थी वह कुछ समय में सो गई बच्ची को सुलाने के बाद वहा से उठ कर मेरे पास आई और कहा आप यहां बैठो में चेंज कर के आई.
में सोफे पर बैठा मगर मैने देखा कि उसने अपने बेडरूम का दरवाजा ठीक से बंद नहीं किया है. में धीरे से दरवाजे के पास गया और अंदर झांककर देखा तो उसने अपने कपड़े पूरे उतार दिए थे वो रूम में नंगी खड़ी आइने में अपने आप को देख रही थी उसके बूब्स चमक रहे थे.
में उनको देख कर हैरान था कि क्या मस्त बड़े चूचियां थी चूचियों के ऊपर गुलाबी निपल्स और भी सुंदर लग रहे थे उसने एक हाथ से अपनी चूचियां सहलाई और दूसरे हाथ की उंगली को चुद के अंदर बहार करने लगी जिससे उसकी तेज चलती सासो की आवाज आ रही थी।
उसी समय मैने भी अपना लंड पेंट में से निकाला और थीरे से मुठ मारने लगा मगर उसके मस्त बदन को देख कर अपने आप पर काबू नहीं रख सका और एक आवाज के साथ मेरा भी थोड़ा बहुत माल निकलने लगा उसने आवाज सुन ली थी वह तुरंत मेरे पास आई और मेरे लंड को कस कर पकड़ लिया.
उसने तुरंत मेरे माल को लंड के अंदर ही रोक लिया मैने उसके चेहरे को देखा तो उसके चेहरे पर एक मुस्कान थी भाभी ने कहा तुम आज कल के लड़के बहुत कामुक होते हो तुम्हे पता नहीं किस समय और कब क्या करना है ये तुम्हारा माल बहुत ज्यादा कीमती है इसे यूहीं बेकार मत करो.
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आगे भाभी ने कहा मैने लंबे समय से तुम्हारा इंतजार किया सही मौके का मैने कहा भाभी में आप की बात समझा नहीं आप क्या कहना चाहती है. भाभी ने कहा ओह मेरे विवेक तुम तो बड़े भोले बन रहे हो जैसे कि तुम मुझे रोज घुर कर नहीं देखते.
दोस्तो आदमी कितने भी तरीके से औरत को देखे मगर उनकी नजरें बहुत तेज होती है जो हम जैसे शातिर खिलाड़ियों को भी पकड़ लेती है। भाभी ने कहा जो तुम ने अभी देखा वो गलती से नहीं देखा ऐसा में चाहती थी। की तुम मुझे नंगी देखो और हिम्मत कर के मेरी चुदाई करो.
फिर भाभी ने मेरा माल चूसकर ख़तम कर दिया और कहा आज देखते है कि तुम में कितना दम है. यह कहकर भाभी उठी और मेरे होठों को चूमने लगी भाभी ओह जानू में तुम्हारा कितने दिनों से इंतजार कर रही थी तुम्हारी सारी इच्छाएं आज मेरे साथ पूरी कर लो भाभी ने कहा आज में अपना सबकुछ आप को दे रही हूं।
मैने कहा भाभी में बहुत खुशनसीब हूं जो तुम जैसी हसीन कि चुदाई करूगा उसने खींच कर मेरे शर्ट के बदन तोड़ दिए में अपने आप को बहुत नसीब वाला मान रहा था कि जिस औरत को मेरे कालोनी वाले पाना चाहते थे. वो आज मेरे लंड के नीचे होगी। उसने मुझे बेडरूम में ले जाकर बिस्तर पर धकेल दिया और मेरी शर्ट खोलने लगी.
मैने उसकी चूचियां पकड़ने कि कोशिश की लेकिन उसने मेरे हाथ को वहा से हठा दिया और मुझे सबर करने को कहा उसने हाथ नीचे ले जा कार मेरी पेंट और साथ ही मेरी चडी को भी उतार दिया तो देखा मेरे लन्ड पर बहुत बाल थे. जो मैने एक महीने से काटे नहीं थे उसने देखा और कहा मुझे ऐसे ही लड़के पसंद जिनके लंड के आस पास बहुत बाल हो।
मेरा 8इंच का लंड धीरे से अपनी ओकात में आरहा था। मैने फिर से उसके बूब्स पकड़ने कि कोशिश की तो मगर उसने अभी भी मुझे थोड़ा इंतजार करने को कहा और कमरे से बहार चली गई में कंफ्यूज हो रहा था जब वह वापिस आई कमरे में तो उसके हाथ में एक बेग था।
वह क्या चाहती थी में अभी तक समझ नहीं पा रहा था। उसने बेग में से एक रस्सी निकाली और मेरे दोनों हाथों को बेड के किनारे बांध दिया में इस बात से हैरान था हालांकि मैने बहुत सो की चुद फार्डी है मगर ये एहसास मेरे लिए नया था उसने बेग मेसे एक चीज निकाली शायद वह कपन करने वाला लंड था.
मैने कहा ये सब आप उपयोग करती है उसने कहा हा मेरे पति बिस्तर पर इतने अच्छे नहीं है तो क्या करू इनका उपयोग आप पर करते है आप मुझे निराश नहीं करेगे मैने कहा क्या में नहीं मुझ पर ट्राय मत करो दामिनी. आई रिक्वेस्ट यू दामिनी ने कहा ट्राय तो करो मेरी अब फटने लगी थी.
मगर दामिनी को थोड़ी देर में हसी आई और कहा में तो मजाक कर रही थी और कहा अब मालूम पड़ा जब तुम हमारी गांड के अंदर लंड डालते हो तो हमे केसा दर्द होता है अभी तो मैने सिर्फ डराया था यदि सही में तुम्हारी गांड मारती तो तुम्हारा क्या हाल होता.
मैने कहा तुम सच कह रही हो मगर औरत की गांड का जो मजा है उस एहसास को हम मर्द लोग को उसने ही मजा आता है शुरू में तो दर्द होता है मगर फिर साथ में तुमको भी तो मजा आता है दामिनी मेरी बात पर फिर हसी और मेरे लंड के ऊपर बैठ कर मुझे चूमना शुरू कर दिया.
वह मेरे होठों को मेरे चेहरे पर मेरी बगल मेरी छाती मेरे पेट और मेरे पाव उसने हर जगह मुझे चूमा और चाटा मगर मेरे लंड को टच भी नहीं किया मैने कहा दामिनी मेरे लंड को भी तो चूसो मगर उसने इनकार कर दिया और कहा जब तक तुम भीख नहीं मांगते तब तक वहा टच तो क्या चुसुगी भी नहीं।
तो मैने उससे भीख मागी मेरे लंड को चूसने के लिए उसने चड्ढी नीचे कर उसने थोड़ा चूमा और अपने हाथ से मेरे लंड को हिलाया फिर उसने मेरी गेदो को चाटा अपनी जीभ से मेरे लंड के के चारो और फेरी मेरे लंड ने एक ठुमका उसके मुंह पर मारा तो उसने कहा तुम्हें इसकी सजा जरूर मिलेगी में सोच में पड़ गया अब क्या करने वाली है।
और अपने हाथ से मेरे निपल को जोर से दबाया मुझे बहुत दर्द हुआ मगर उस समय में काम वासना के असर में था। फिर वो अपने तन को मेरे तन से रगड़ने लगी और मुझे परेशान करने लगी इन सब में मेरा लंड बिना चुद के दर्द कर रहा था।
दामिनी ने कहा केसा लगा मेरा फोरप्ले अब असली शो का टाइम आ चुका है फिर उसने बेग में से कुछ चिकनाई जैसी एक क्रीम निकाली और अपने हाथ में लेकर मेरे पूरे शरीर की मालिश करने लगी मालिश करते हुए उसके बॉब्स मेरे आंखो के सामने हिल रहे थे मगर में कुछ कर नहीं सकता था.
फिर उसने हाथ में पानी लेकर मुझे साफ किया और मेरा एक हाथ खोल दिया अब मुझे थोड़ा बेहतर फिल हो रहा था। लेकिन में उसकी फैंटेसी को रोकना नहीं चाहता था. इसलिए अपनी काम वासना पर काबू करने की कोशिश कर रहा था और बेग में से एक हंटर निकाला और मेरे पाव और मुझे घुमा कर हंटर मारने लगी.
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उस समय तो मुझे ऐसा लगा जैसे उसमे कोई शैतानी आत्मा आगईं हो मगर वो रुकी नहीं टोटल उसने 10हंटर मुझे मारे और साथ ही एक और रस्सी से मेरे दोनों पाव बांध दिया वो फिर से कमरे के बहार गई और थोड़ी देर में कुछ हाथ में लेकर आई. मैने पूछा तो कहा तुम आज का ये सेक्स हमेशा याद रखोगे और जहा उसने हंटर मारा था वहा लाल मिर्च और नमक लगाया मुझे ऐसा दर्द हुआ की मेरी आंखो में से आशु आगए मुझे ऐसा लगा जैसे में कोई मुजरिम हूं और वो कोई जेलर जो मुझे टॉर्चर कर रही हो.
मैने दर्द में ही उससे कहा दामिनी अब तो तुम्हारी फैंटेसी पूरी हो गई अब तो मुझे खोल दो मगर फिर वो वापिस हसी और कहा अभी तो शुरुआत हुई है अभी तो तुम्हारे साथ बहुत कुछ ट्राय करना है मुझे लगा. आज तो सेक्स की जगह भूतनी मेरे पीछे पड़ गई है जो आज तो मुझे मार के ही दम लेगी मुझे अपनी गलती पर पछता भी रहा था कि कहा में इसकी चुद के पीछे पड़ा। मगर उसने थोड़ी देर में बर्फ के टुकड़े से मेरे घाव पर मालिश करने लगी जिससे मुझे कुछ राहत मिली मगर ये आराम थोड़ी देर के लिए ही था अभी तो बहुत कुछ बाकी है आगे की कहानी अगले भाग में…