Padhai Sath Pahli Chudai
मेरा नाम मीमांसा है मैं 18 साल की लड़की हूं. आज मैं आपको अपनी सेक्स कहानी लिखने जा रही हूं मेरा संबंध एक अंकल से है वह मुझे बहुत पसंद करते हैं और मैं भी उनको बहुत पसंद करती हूं 1 दिन ऐसा हुआ कि मेरा उनसे सेक्स संबंध हो गया तब से आज तक मैं उनसे सप्ताह में एक बार जरूर मिलती हूं और चुदवाती हूं। Padhai Sath Pahli Chudai
कभी मुझे लगता है कि मेरा की रिश्ता गलत है तो कभी मुझे लगता है कि यह रिश्ता सही है। अगर मैं किसी लड़के से रिश्ता रखती हूं तो हो सकता है वह अपने दोस्तों को बता दे आज ना कल मेरी बात को मेरे रिश्ते को दूसरों को भी बता दे। पर मुझे लगता है कि अगर अंकल से मैं हमेशा ऐसे ही संबंध बनाकर रखूं तो किसी को भी पता नहीं चलेगा।
यह सब कैसे हुआ अब मैं बताने जा रही हूं मैं ओपन स्कूल से 12थ में पढ़ रही हूं मैंने कॉमर्स ले रखा है पर मुझे कुछ ज्यादा समझ नहीं आता है तो 1 दिन मैं और मेरी मम्मी दोनों ही अंकल के घर गए थे और उनसे बात की मेरी मां बोली कि भाई साहब आप मेरी बेटी को मदद कीजिए ताकि वह किसी तरह से 12वीं पास कर जाए.
आजकल शादी भी करने जाएंगे किसी को बोलेंगे तो कम से कम 12 वि होना जरूरी है। आप ही मदद कर सकते हैं आपको तो पता है मेरे पति को इसके पढ़ाई को लेकर कुछ भी लेना देना नहीं है इसका बड़ा भाई काम में बिजी रहता है और मैं नहीं चाहती कि यह घर से बाहर जाकर ट्यूशन पढ़ें.
क्योंकि आजकल जमाना खराब है आजकल तो लड़कियों के पीछे लोग लगे रहते हैं उम्र का भी लिहाज नहीं करते क्या लड़का क्या आदमी जिसको देखो वही औरतों को लड़कियों को घूरते रहते हैं तुम्हें समझती हूं घर से बाहर इसे ना भेजूं।
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जब मेरी मम्मी अंकल से बात कर रही थी तब अंकल का ध्यान मेरे होठों पर मेरे गाल पर और मेरे बूब्स पर था। मुझे थोड़ा ठीक नहीं लगा इसलिए मैंने अपना दुपट्टा सही करके अपने बूब्स को ढकने लगे तो अंकल ने इशारे में कहा देखो मीमांसा कुछ पाने के लिए कुछ खोना पड़ता है.
अगर तुम चाहती हैं कि मैं पढ़ लिख जाऊं तो कुछ खोना पड़ेगा उस समय उनका ध्यान मेरे दोनों चूचियों पर था। मैं समझ गई वह क्या कहना चाह रहे थे फिर उन्होंने बात घुमाया और उसी बात को मेरे मम्मी को समझाया कि देखिए भाभी जी इसको मेहनत करनी पड़ेगी घूमना फिरना बंद करना पड़ेगा मोबाइल टीवी से थोड़ा दूर रहना पड़ेगा. “Padhai Sath Pahli Chudai”
इसीलिए मैंने कहा कुछ पाने के लिए कुछ खोना पड़ता है। मम्मी कुछ समझी मम्मी को लगा अंकल बड़े अच्छे बात बोल रहे हैं और मुझे पता था वह क्या खोने की बात कर रहे थे उनकी निगाहें मेरी तरफ थी. दोस्तों मैं भी कम नहीं हूं मैं भी स्वभाव से काफी ज्यादा सेक्सी हूं.
मैंने कई सारे इन्स्ताग्राम रील्स भी बनाए हैं जिसमें अपने दोनों बड़ी बड़ी चूचियों को दिखाई पर थोड़ी देर में ही इन्स्ताग्राम वाले मेरी वीडियो को डिलीट कर देते हैं मुझे अच्छा लगता है लोगों को अपना शरीर दिखाना अपना प्राइवेट पार्ट दिखाना क्योंकि मेरी है भरपूर जवानी चल रही है मुझे भी चाहिए मेरी पांच दोस्त है पांचों ने अपनी सील तुड़वा चुकी है।
अपनी वर्जिनिटी खो चुकी है मुझे लगा कि अपनी वर्जिनिटी खोने का यह सेफ जगह है। बात फाइनल हो गया उन्होंने सेटरडे और संडे को अपने पास बुलाया। सेटरडे संडे को अंकल जी की पत्नी जिनको मैं आंटी कहती हूं वह नहीं रहती है वह एनजीओ के लिए काम करते हैं इसलिए वह सेटरडे संडे को वही जाती हैं।
मैं सेटरडे को उनके यहां पहुंच गई। उस दिन मैंने खुले गले का टॉप्स पहने ताकि मेरी दोनों चूचियां दिखाई दे क्योंकि औरत के पास एक यही कहना होता है जिसको दिखाकर किसी को भी अपनी तरफ आकर्षित कर सकती है और मनचाहा काम करा सकती है। मम्मी मुझे गेट पर ही छोड़ कर चली गई। “Padhai Sath Pahli Chudai”
मैं अंदर आ गई अंकल जी ने दरवाजा बंद कर लिया मैं उनके बेडरूम में गई और बेड पर बैठकर ही अपने सारे बुक पहले उनको दिखाने लगी. उन्होंने बोला मैं पास कराने की गारंटी लेता हूं। मैं तुम्हें पास करवा दूंगा और तुमसे कोई पैसे भी नहीं लूंगा पर कुछ तो चाहिए मुझे.
तुम्हें सर झुका कर उनको बोल दी जरूर दूंगी अगर आप मुझे 12वीं पास करा देंगे तो मेरा भी इज्जत बन जाएगा अगर किसी चीज से मेरा इज्जत बन रहा है तो थोड़ा सा इज्जत आपको देने में मुझे कोई दिक्कत नहीं होगी। अंकल जी बोले शाबाश तुम समझ गई।
तो फिर अंकल जी बोले फिर कहां से शुरू करें पहले कौन सा काम करें तो मैं बोली फिर भी आप मुझे नहीं पढ़ा पाएंगे जब तक आप मुझे पा नहीं लेते और मैं उनके तरफ देखने लगी वह मेरे करीब आ गए और बोले देखो यह बातें हम दोनों के बीच में रहने चाहिए किसी को भी मत बताना। “Padhai Sath Pahli Chudai”
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मैं बोली मैं क्यों बोलूंगी कोई लड़कियां कभी भी किसी को कुछ नहीं बोलती है और खासकर जब अपने से बड़े इंसान से कोई सेक्स संबंध बनाता है तो वह कभी भी किसी से शेयर नहीं करता मैं भी नहीं करूंगी इतना कह कर वो मेरे करीब आ गए मेरे हाथ को पकड़े मेरे तरफ देखने लगे मेरे होंठ काँप रहे थे।
मुझे डर भी लग रहा था कि पता नहीं क्या होगा पर मुझे यह भी पता था किसी एक्सपीरियंस इंसान से पहली बार अगर सेक्स किया जाए तो कोई दिक्कत नहीं आती है. मैं भी उनको देखने लगी वह भी मुझे देखने लगे और धीरे-धीरे हम दोनों कब करीब आ गए पता ही नहीं चला वह मेरे होंठ को चूसने लगे.
मैं भी उनके होंठ को चूसने लगी धीरे-धीरे वह मेरी गाल को सहलाने लगे धीरे-धीरे अपना हाथ वह मेरे पीठ पर रखे धीरे-धीरे जांग पर अपना हाथ फेरने लगे। मेरे पूरे शरीर में करंट आ रहा था ऐसा लग रहा था कि मैं पागल हो जाऊंगी मेरे होंठ सूखने लगे थे और उनकी भी सांसे तेज तेज चलने लगी थी. “Padhai Sath Pahli Chudai”
मुझे लिटा दिए मेरे टॉप को उन्होंने खोल दिया ब्रा को हटा दिया जब उन्होंने दोनों बड़े-बड़े गोल-गोल सॉलिड बूब्स को देखा तो उनसे रहा नहीं गया। वह तुरंत ही मेरे दोनों बूब्स को अपने हाथों से मसलने लगे मुझे थोड़ा थोड़ा दर्द भी हो रहा था और अच्छा भी लग रहा था पर जो भी हो रहा था बहुत अच्छा हो रहा था।
दोस्तों उसके बाद उन्होंने मेरे गर्दन पर किस करना शुरू किया मेरे बूब्स पर किस करना शुरू किया मेरे निप्पल को दोनों उंगलियों से रगड़ने लगे दबाने लगे आह निकल रही थी मेरे सिसकारियां निकल रही थी मैं परेशान हो रही थी। मेरी चुत गीली हो गई थी।
अब वह मेरे को भी खोल दिए थे मैं पिंक कलर की पहनी थी उसके ऊपर से वह सहलाने लगे मैं बोलने से क्या होगा अंदर जाकर उन्होंने तुरंत ही उतार दे। एक दिन पहले ही अपने बाल हटाए थी गोरा बदन देखकर वो आहें भरने लगे वह बोले कमाल के है तू आज मुझे जन्नत मिलने वाला है कब से तुम्हें सोच कर रात को मुठ मारता हूं।
तो मैं बोली अब आपको यह सब करने की जरूरत नहीं है अब मैं आपको मिल गई हूं सेटरडे संडे इसके लिए हम दोनों एक घंटा रखेंगे पढ़ाई भी जरूरी है और चुदाई भी जरुरी है। वह बोले ठीक है मैं तुम्हारा समय भी बर्बाद नहीं करूंगा मुझे तुम्हें पास भी कराना है और तुम्हें खुश भी रखना है। “Padhai Sath Pahli Chudai”
सबसे अच्छी बात तो हम दोनों के बीच में यही थी कि हम दोनों एक दूसरे का केयर कर रहे थे एक दूसरे की भावनाओं को समझ रहे थे एक दूसरे को हेल्प पर भी कर रहे थे अगर 1 घंटे सेक्स में ही जाता है और 5 घंटे पढ़ाई में जाती है तो कोई दिक्कत नहीं है। “Padhai Sath Pahli Chudai”
उसके बाद उन्होंने मेरे दोनों जांघों के बीच में बैठ गए अपने हाथों से टटोलकर मेरी चूत को बाहर से देखा फिर फाड़कर अंदर देखा उन्होंने बोला अरे यार तेरा तो सील भी नहीं टूटा हुआ है। ऐसा नसीब किसी को नहीं होता है जिस उम्र में मैं हूं उस उम्र में किसी लड़की को पहली बार चोदने का मौका मिल जाए तो इससे बड़ी बात कोई नहीं हो सकती है।
उन्होंने तुरंत ही मेरी चूत को चाटने लगे मैं धीरे-धीरे पानी छोड़ने लगी मैं पूरी तरह से गर्म हो गई थी मेरी वासना भड़क गई थी। मैं एक अलग ही एहसास में गोते लगा रही थी मेरे रूम रूम खेल रहे थे होठ मेरा सूख रहा था पर मेरी चुत गीली हो रही थी।
उन्होंने अपने कपड़े उतार दिए मेरे दोनों टांगों को अपने कंधे पर रखा अपने लंड को मेरी चूत पर सेट किया और घुसाने लगे। मैं दर्द से तड़पने लगी उन्होंने अपने हाथ को मेरी दोनों बूब्स पर रखकर पहला कर बोला थोड़ा दर्द करेगा फिर मजा आएगा और दर्द भी आज ही रहेगा उसके बाद कोई दर्द नहीं करेगा. “Padhai Sath Pahli Chudai”
क्योंकि फिर तेरी सील टूट जाएगी तेरी वर्जिनिटी खत्म हो जाएगी उसके बाद तुम चाहो तो अपनी जिंदगी के मजे लो। ठीक है ऐसा ही हुआ दोस्तों करीब 5 मिनट तक उन्होंने ट्राई किया उसके बाद अपना पूरा लौड़ा जो करीब ७ इंच कथा मेरी चूत मैं डाल दिया। पहले तो खूब दर्द करने लगा पर चार-पांच झटके के बाद मैं नॉर्मल हो गई अब मुझे मजा आने लगा.
अब वह मेरे ऊपर लेट गए मैंने अपने दोनों पैर उनके चारों तरफ लपेट ली। और वह धक्के देने शुरू कर दिए मेरे मुंह से आह आह आह आउच उफ उफ धीरे धीरे धीरे धीरे प्लीज धीरे धीरे दर्द हो रहा है ज्यादा जोर से नहीं आराम आराम से प्लीज कहने लगे पर वह मेरी एक नहीं मान रहे थे वह जोर-जोर से मुझे चोदे जा रहे थे मैं मजे लेने लगे अब मेरे दर्द खत्म हो गए थे।
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दोस्तों उन्होंने एक भूखी शेरनी को जगा दिया था अब मैं उनको नीचे करके उनके ऊपर मैं चल गई उसके बाद फिर उनके जो हाल के उनको ही पता है मैं उनके पूरे जिस्म के साथ खेलने लगी। उनके लौड़े की पकड़कर अपने चूत मैं ले ली उसके बाद जोर जोर से उछलने लगी अब सटासट उनका लौड़ा मेरी चूत में घुस रहा था। क्यों की मेरी चूत गीली हो गई थी रास्ता साफ़ हो गया था। उसके बाद तो हमने अलग अलग तरीके से जितने भी मैंने तरीके देखे थे कामसूत्र में वह सारे आत्मा डालें पर वह भी ठरकी था।
उसने भी कोई कसर नहीं छोड़ी थी शायद मुझे एक जवान लड़के से यह सब नहीं मिल पाता जो मुझे उस अंकल से मिला। हम दोनों पसीने पसीने हो गए थे और एक साथ ही दोनों ठंडे पानी दोनों करीब आधे घंटे तक लेते रहे फिर हम दोनों ने कपड़े पहने और फिर बैठ कर बातें करने लगे दोस्तों पिछले शनिवार को तो कोई पढ़ाई नहीं हुई संडे को किसी काम से मुझे बाहर जाना पड़ा तो मैं पढ़ने नहीं गई अब देखें इस सैटरडे को क्या होता है। मुझे तो चुदाई का चस्का लग गया है। अब मैं रोजाना चुदना चाहती हूँ।