Madmast Jawani
मैं बी एस सी के दूसरे साल में था. मेरे मौसी के लड़के की नई नई शादी हुई थी. वो मेरे से पांच साल बड़ा था. बैंक में नौकरी करता था. मैं अक्सर ही कॉलेज से आते वक्त मौसी से रोज मिलने जाता था. ये सिलसिला स्कुल के दिनों से चलता आ रहा था. भैया की शादी के बाद भी मैंने यह सिलसिला शुरू रखा. Madmast Jawani
हिमांशी भाभी मुझसे जल्दी ही घुलमिल गई. आखिर मेरी हमउम्र थी. हिमांशी दिखने में बहुत ही खुबसूरत थी और उसका कद भी काफी छोटा था. ऐसा लगता था जैसे कोई दसवीं क्लास की लड़की खड़ी हो. एकदम गोरा रंग और तीखे नाक-नख्श. हम दोनों मौसी के साथ खूब बातें करते और मजाकें भी.
भैया और भाभी हनीमून मनाकर लौट आये थे. मैं भाभी को अक्सर हनीमून को लेकर छेड़ने लगा. लेकिन भाभी मुस्कुराकर रह जाती. कुछ महीने बीत गए. मुझे अचानक ही यह लगने लगा कि इन दिनों भाभी मुझसे कुछ ज्यादा ही मुस्कुराकर मिलती है और मेरे करीब बैठने की कोशिश करती है.
कॉलेज में होने के कारण यूँ तो ज्यादातर लड़के सब कुछ जान जाते हैं लेकिन मेरा स्वभाव ऐसा नहीं था और मैं केवल मजाक तक ही सिमित था. एक दिन मैं मौसी के घर बड़े सवेरे मेरे जन्मदिन का न्यौता देने के लिए गया. मौसी घर पर नहीं थी. भैय्या और मौसाजी अपने अपने काम के लिए निकल चुके थे.
इसे भी पढ़े – डॉक्टर के सुई की नहीं लंड की जरुरत थी भाभी को
जब मैं भाभी के कमरे में पहुंचा तो भाभी नहाकर बाथरूम से निकल रही थी. मुझे यह पता नहीं था और ना ही भाभी को. भाभी ने उस वक्त अपने बदन पर केवल एक तौलिया लपेट रखा था. मेरी और भाभी की नजरें आपस में मिल गई और मैं “सॉरी” बोलकर तुरंत बाहर निकलकर आ गया.
भाभी ने कुछ ही देर के बाद मुझे अन्दर बुला लिया. भाभी के बाल खुले हुए थे और जल्दी जल्दी में उन्होंने जो साड़ी पहनी थी उसका पल्लू नीचे ही था. उनका नीला ब्लाउज साफ़ नजर आ रहा था और साथ ही ब्लाउज के अन्दर आ खजाना भी.
मैंने पहली बार किसी औरत को इस तरह से इतने नजदीक से देखा था. मैं उन्हें देखने लगा. भाभी भी मुझे मुस्कुराते हुए देखने लगी. हम दोनों की नजरें मिली. मैं शरमाया और अपनी नजरें झुका ली . लेकिन भाभी मुझे उसी तरह से मुस्कुराते हुए देखती रही.
मैंने जब उन्हें अपने जन्मदिन की दावत के लिए शाम को घर आने की बात कही तो अचानक भाभी ने कहा ” आप का जन्मदिन है!!! मेनी हैप्पी रिटर्न्स ऑफ़ दी डे. मुझे पता ही नहीं था.” भाभी आगे बढ़ी और मेरे गालों पर अपने होंठों से एक बहुत ही हल्का सा चुम्बन दिया.
मैं भीतर तक सिहर गया. किसी महिला का ये मेरे जिस्म पर पहला स्पर्श था. मेरे डरे हुए चेहरे को देखकर भाभी ने कहा ” ये क्या! आप इतना डर गए! ” मैं सर झुकाए खड़ा रहा. अब भाभी मेरे और भी करीब आ गई. उनके बदन से चन्दन के साबुन की महक आ रही थी. “Madmast Jawani”
भाभी ने एक बार फिर मेरे गालों को चूमा और बोली ” जन्मदिन बहुत मुबारक. मैंने आपको विश किया. मुझे थैंक्स तो दो.” मैं बहुत धीरे से बोला ” थैंक्स भाभी” भाभी ने कहा ” ये क्या भाभी भाभी लगा रखा है. हम दोनों एक ही उमर के हैं और दोस्त हैं. तुम मुझे हिमांशी कहोगे. मुझसे बिलकुल भी नहीं शरमाओगे. दोस्तों में शर्म कुछ नहीं होनी चाहिये. दोस्त लोग तो आपस में सब कुछ बांटते हैं. मुझे तुम्हारा शर्माना दूर करना पडेगा. ऐसे थोड़े हो कोई काम चलता है.”
अब भाभी ने मेरा हाथ पकड़ लिया. फिर डरे हाथ से मेरे हाथ को जोर से दबा दिया और मुझे हंसकर देखने लगी. मुझे लगा कि इससे पहले कोई अनहोनी हो जाए यहाँ से खिसक लेना ही बेहतर होगा क्यूंकि भाभी की नजरें कुछ और ही कह रही थी.
मैं जैसे ही जाने के लिए पलता भाभी ने मुझे पीठ पीछे से बाहों में भर लिया. उनके सीने का दबाव मुझे महसूस होने लगा. हभी लगातार मुझे दबाये जा रही थी. मुझे भी ना जाने क्यूँ यह अब कुछ कुछ अच्छा लगने लगा. हिमांशी अब घूमकर मेरे सामने आ गई.
वो अभी भी मुस्कुरा रही थी..अभी भी उनका पल्लू नीचे था. अब हिमांशी ने मुझे फिर अपनी बाहों में भर लिया. उसका गोरा मुख मेरे सामने था. एकदम से किसी कच्ची कली से कम नजर नहीं आ रही थी हिमांशी भाभी. एक बार फिर हिमांशी ने मुझे गालों पर चूमा. “Madmast Jawani”
इसे भी पढ़े – लंडखोर चाची की चूत में बेलन भी पेला
इसके बाद उसने मेरे गरदन के नीचे के हिस्से को चूमा. फिर उन्होंने मेरे सीने पर चूमा और बनावटी गुस्से से बोली ” ये क्या बात है यार! जन्मदिन है इसका मतलब ये तो नहीं कि तुम चुपचाप खड़े रहो. मुझे रिटर्न गिफ्ट कौन देगा हाँ.? चलो मेरी गिफ्ट वापस करो.”
मेरे सामने अब कोई चारा नहीं था. मैंने हिमांशी के दोनों गालों पर बारी बारी से चूमा. मुझे ऐसा लगा जैसे ढेर सारी शक्कर मेरे मुंह में घुल गई हो. अब हिमांशी और मैंने एक दूसरे को धीरे धीरे गालों पर ; गरदन पर ; सीने के उपरी हिस्सों पर चूमना शुरू किया.
हिमांशी ने अपने हाथों से अब मेरे शर्ट के बटन खोलने शुरू कर दिए. मैंने इसका विरोध किया. हिमांशी ने कहा ” मैंने कहा ना दोस्त सब कुछ बांटते हैं.” अब मैं मूर्ति जैसे खडा था. हिमांशी ने मेरा शर्ट और बनियान खोल दिए. फिर उसने मुझे कहा ” अब मेरे कपडे क्या मैं खुद उतारूंगी!”
मैं आश्चर्य में पड़ गया. ये कौनसी दोस्ती हुई. ये कैसा बांटना हुआ. लेकिन क्या करता अब मेरा मन भी डोल उठा था. मैंने हिमांशी के ब्लाउज को खोला. फिर हिमांशी ने मेरे हाथ को अपनी पीठ के पीछे लेजाकर अपनी ब्रा का हुक पकडवा दिया. मैंने वो हुक भी खोल दिए. “Madmast Jawani”
हिमांशी ने जैसे ही ब्रा को हटाकर दूर फेंका मैं हिमांशी की नंगी छाती को देखने लगा. एकदम चिकनी चमड़ी और मध्यम उंचाई में उभरे हुए स्तन. हिमांशी ने अब मुझे अपने सीने से लगा लिया. मेरी धड़कने अब काबू के बाहर हो रही थी.
हिमांशी ने अपने हाथ नीचे किये और मेरी जींस के बटन खोले और उसे नीचे खींच दिया. मेरे हाथ खुद-बा-खुद हिमांशी की कमर के नीचे चले गए. उसके पेटीकोट का नाडा खुल गया. अब हम दोनों केवल अपने अंतर वस्त्रों में रह गए थे. हिमांशी ने मुझे इशारा किया और हम दोनों पलंग पर आ आगये.
हिमांशी ने पलंग के पास के स्टूल पर रखी प्लेट में से अंगूर का गुच्छा उठाया. हिमांशी ने वो गुछ्छा हम दोनों के मुंह के बीच ले लिया. हम दोनों ने एक एक दाना मुंह में रखा. हिमांशी ने गुच्छा हटा दिया और अपना मुंह मेरे सामने कर दिया.
इसे भी पढ़े – नए शौहर ने रात भर प्यार किया
हिमांशी ने अंगूर के दाने को अपने होंठों के बीच दबा लिया और मेरे होंठों की तरफ बढ़ा दिया मैंने भी ऐसा ही किया. अब हमने अपने अंगूर के दाने को आपस में मुंह ही मुंह में बदल लिया. दोनों ने अंगूर को चबाया और फिर अपने अपने होंठ आमने सामने किये और एक दूजे के होंठ चूम लिए. “Madmast Jawani”
अंगूर का रस हमारे मुंह की लार ,में घुलकर हमारे मुंह में गया और हम दोनों को नशा सा आ गया. अब हम दोनों पलंग पर लेट गए और एक दूजे से लिपट कर चिपट गए. अब हम दोनों आपस में लगातार जल्दी जल्दी यहाँ वहाँ चूमने लगे.
हिमांशी ने अब जल्दी जल्दी अपनी पैंटी और मेरी अंडर वेअर खोल दी. मैंने उसे बहुत मना किया लेकिन हिमांशी नहीं मानी. हिमांशी ने मेरे बड़े और कड़क होकर लम्बे हो गए मेरे लिंग को अपने हाथ से पकड़ा और उसे सीधे अपने जननांग में जोर लगाकर घुसा दिया.
मेरे लिंग पर कंडोम भी नहीं था. करीब पांच मिनट के अन्दर ही मुझे हिमांशी के जननांग के भीतर गीलापन लगने लगा. हिमांशी ने तुरंत मेरे लिंग को खींच कर बाहर कर दिया..उसने मेरे लिंग को अपने दोनों हाथों से धीरे से दबा दबाकर सहलाना शुरू किया.
दो मिनट के अन्दर ही मेरे लिंग ने एक सफ़ेद रंग का गाढा रस छोड़ना शुरू कर दिया. हिमांशी ने उस रस को अपने गुप्तांग पर लगाया और मेरी तरफ मुस्कुराकर देखा. अब मैंने अपने हाथ से उस रस को उसके गुप्तांग पर फैला कर धीरे धीरे मसाज करना शुरू किया. “Madmast Jawani”
दो-तीन मिनट के बाद हिमांशी के जननांग के अन्दर से भी वैसा ही सफ़ेद गाढा रस बहने लगा. मैंने उस रस को अपने हाथ में लिया और अपने लिंग पर लगा दिया. अब हम दोनों उस रस से गीले हो चुके गुप्तांग और जननांग की लगातार मसाज एक दूसरे के हाथों से करने लगे.
हिमांशी ने मेरे होंठों को अपने होंठों से जकड़कर चूसना शुरू कर दिया था. अब हम दोनों एक बार फिर आपस में लिपट गए. मैंने इस बार अपना लिंग हिमांशी की टांगों के बीच में फंसा दिया. हिमांशी अपनी जाँघों के दबाव से मेरे लिंग का मसाज करने लगी.
हिमांशी के गुप्तांग और जननांग के बीच का हिस्सा हम दोनों के गाढे रस से पूरी तरह से गीला हो चुका था. मैं जैसे जैसे अपने लिंग को हिमांशी के गुप्तांग और जननांग से टच कराकर जोर से दबाता हिमांशी मेरे होंठों को जोर से चूस लेती.
हम दोनों इसी तरह से करीब आधे घंटे तक लेते रहे. आखिर में हिमांशी ने मुझे फ्रेंच किस सिखाया. वो अपनी जीभ मेरे मुंह के अन्दर ले गई और मेरे मुंह की लार को अपनी जीभ से पी गई. मैंने भी ऐसे ही किया. पूरे दस मिनट तक हम दोनों ने फ्रेंच किस किया. “Madmast Jawani”
इसे भी पढ़े – अब्बू ने नई अम्मी की सील मुझसे तुड़वाई
इसके बाद हिमांशी ने कहा ” तुम्हारी मौसी के आने का समय हो गया है.” हिमांशी और मैं बाथरूम में आये. पानी से पूरी सफाई की और एक दूसरे को एक लंबा फ्रेंच किस दिया और मैं कपडे पहन कर रवाना होने लगा. हिमांशी ने कहा ” दोस्ती की शुरुवात है. इसलिए हमने ये शेयर किया है. तुम इसका मतलब ये मत निकालना कि तुम्हें ऐसा मौका बार बार मिलता रहेगा.” मैंने हिमांशी के होंठों को एक बार फिर जोर से चूमा और बोला ” जब तक दोस्ती रहेगी तब तक हम दोनों सब कुछ शेयर करते रहेंगे..
मैं ये भी जनता हूँ कि तुम मना भी नहीं कर पाओगी.” हिमांशी मुस्कुराई . मेरे होंठों को एक बार फिर जोर से खींचा और बोली ” अगर ऐसी बात है तो हम लगातार शेयर करते रहेंगे.” मैंने फिर एक बार हिमांशी के होंठों को जोर से चूमा और बाहर निकलकर घर लौट आया. उस दिन के बाद मैं हिमांशी से एक बार और अकेले में मिला. हिमांशी ने उस दिन कंडोम के साथ सेक्स किया. अब जब भी मौक़ा मिलता है हम दोनों घंटों सेक्स करते हैं. आखिर दोस्त सब शेयर करते है ना.
Hot says
Hey grils bhabhi jisko bhi mere sath enjoy karna hai to mujhe Snapchat me msg kre meri id hotbaat97 pe
Raman deep says
कोई लड़की भाभी आंटी तलाकशुदा महिला जिसकी चूत प्यासी हो ओर मोटे लड से चुदवाना चाहती हो तो मुझे कॉल और व्हाट्सएप करे 7707981551 सिर्फ महिलाएं….लड़के कॉल ना करे
Wa.me/917707981551?text=Hiii Raman