Hot Housewife Cheat Sex
मैं बाईस साल का जवान हूँ। मेरी हाइट पाँच फुट आठ इंच है और गोरा भरा हुआ शरीर है। सात इंच का लंबा और ढाई इंच चौड़ा लंड है। मेरे पड़ोस वाले फ्लैट में एक नई फैमिली आई है। उस फैमिली में सिर्फ दोनों हसबैंड और वाइफ हैं। उनकी शादी अभी मई में हुई है। मेरी उनसे बहुत अच्छी पहचान हो गई है। Hot Housewife Cheat Sex
उनका नाम अंकुश है और वो एक सेल्स एरिया मैनेजर हैं और वाइफ का नाम काजल है। अंकुश मुझे अपने भाई की तरह रखता है। अंकुश का कोई भी भाई या बहन नहीं है। काजल की और मेरी बहुत अच्छी फ्रेंडशिप हो गई है। हम कई बार अकेले रहते थे। अंकुश तो महीने में कम से कम पंद्रह-अठारह दिन आउट ऑफ स्टेशन रहते थे।
वो मेरे विश्वास पर काजल को अकेले रहने देते थे। मैं और काजल एक-दूसरे से हँसी-मजाक भी करते हैं। काजल बहुत ही शरारती लड़की है। काजल की उम्र बीस साल है और उसके फिगर 34 28 36 का है। गोरा रंग और गुलाबी होंठ हैं। काजल बहुत ही सेक्सी लगती है। मैंने कभी उसे छू भी लिया तो वो मुझे कभी भी मना नहीं करती थी।
एक बार काजल ने मुझे शाम को खाना खाने बुलाया। उस टाइम अंकुश दस दिनों के लिए आउट ऑफ स्टेशन था। मैंने शाम को करीब साढ़े छह बजे खाना खाने गया तो काजल खाना बना रही थी। उसने क्रीम कलर की गाउन पहन रखी थी जिसमें उसके ब्रा और पैंटी नजर आ रही थीं। मैंने तो जिस दिन से उसे देखा, उसे चोदने के लिए बेकरार था।
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उसने मुझे बोला कि प्रत्युष, तुम कपड़े चेंज कर लो। अभी खाने में तीस मिनट लगेंगे। मैं गया और कपड़े चेंज करके आया। फिर मैंने उसे पूछा कि मैं कोई हेल्प करूँ तो वो मुस्कुराते हुए बोली कि आज तो मुझे तुम्हारी हेल्प की ज्यादा जरूरत है। फिर मैंने पूछा कि क्या करना है तो मुस्कुराते हुए बोली कि बताऊँगी। मैंने समझ गया कि आज तो चुदवाने के मूड में है।
मैंने टीवी ऑन करके मूवी देखने लगा। थोड़े देर के बाद वो खाना लेकर आई और बोली, “दो मिनट में कपड़े चेंज करके आती हूँ।” वो अंदर गई और ब्लू कलर की गाउन पहन कर आई जिसमें वो बहुत ही सेक्सी लग रही थी और ऐसा लग रहा था कि उसके बूब्स ब्रा फाड़कर बाहर आना चाहते हैं।
हम दोनों ने खाना स्टार्ट किया और खाते समय मैंने उसके बूब्स को तिरछी निगाहों से देख रहा था। उसे भी पता था कि मैं उसके बूब्स को देख रहा हूँ। वो थोड़ी सी और झुकी तो उसके आधे बूब्स दिखने लगे। वो मुस्कुराते हुए बोली कि ऐसे क्या देख रहे हो तो मैंने बोला कुछ भी नहीं। फिर वो बोली, “मैं सब जानती हूँ” और फिर मुस्कुराने लगी।
हम दोनों ने खाना खाया और फिर थोड़े देर टीवी देखने के बाद आठ बजे मैंने जाने की बोला तो वो बोली कि आज यहीं सो जाओ। मुझे अकेले डर लगता है और आज अंकुश भी नहीं है। प्लीज यहीं सो जाओ ना। मैंने कहा ठीक है, लेकिन मैं कहाँ सोऊँगा तो वो बोली कि तुम यहीं बेड पर सो जाना। मैंने बोला ठीक है।
हम दोनों ने दस बजे तक टीवी देखते रहे और बातें करते रहे। फिर मुझे पता नहीं चला कि कब मुझे नींद आ गई। रात को मुझे बाथरूम जाने के लिए उठा तो देखा कि काजल भी मेरे पास ही सोई है। ये देखते ही मेरा लंड खड़ा हो गया। मैंने सोचा कि आज तो इसे चोद कर ही रहूँगा।
मैंने बाथरूम से आने के बाद वापस सो गया और एक हाथ उसके बूब्स पर रख दिया। वो सो रही थी। फिर मैंने उसके बूब्स को सहलाने लगा। फिर भी वो नहीं जागी। फिर मैंने उसकी जाँघों को सहलाने लगा तो उसने देख लिया। मैंने फिर चुपचाप सो जाने का नाटक करने लगा तो वो कुछ नहीं बोली और फिर सो गई।
थोड़े देर के बाद उसने मेरे लंड पर अपना हाथ रख दिया और सहलाने लगी। मैंने ऐसे ही लेटा रहा और उसे लगा कि मैं सो गया हूँ। मैंने खुद को रोक नहीं पाया और उसे अपनी बाहों में ले लिया और उसके गुलाबी होंठों को चूमने लगा और वो भी मेरे साथ देने लगी।
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थोड़े देर के बाद वो बोली, “मुझे तुमसे प्यार हो गया है। मुझे तुम्हारा लंड बहुत पसंद है।” हम दोनों एक-दूसरे को चूमते-चाटते रहे और उसने मेरे सारे कपड़े उतार दिए। सिर्फ मेरे अंडरवियर में कर दिया। फिर मैंने भी उसे पूरी नंगी कर दिया। बल्ब की रोशनी में उसका गोरा बदन बिलकुल डायमंड की तरह चमक रहा था।
उसने भी मुझे पूरा नंगा कर दिया और मेरे लंड देखकर बोली, “तुम्हारा लंड तो बहुत तगड़ा मोटा है। मेरे हसबैंड का लंड तो अपने लंड से भी आधा है। वो मुझे कभी भी संतुष्ट नहीं कर पाया। प्रत्युष, आज तुम मेरी प्यास बुझा दो।” और उसने मेरा लंड पकड़ लिया और प्यार करने लगी।
मैंने भी उसके दोनों बूब्स को प्यार करने लगा और चूसने लगा। हम दोनों बिलकुल मदहोश हुए जा रहे थे। उसके चौंतीस साइज के बूब्स जो कि एक मेरे मुँह में था और एक हाथ में था। वो मेरे लंड को सहला रही थी। करीब हमने एक घंटे तक चुम्मा-चाटी की। उसने मेरा पूरा बदन चूमा। ये कहानी आप हमारी वासना डॉट नेट पर पढ़ रहे है.
फिर मैंने भी उसके पूरे बदन को चूम लिया और मैंने उसके दोनों पैरों को फैलाया और उसकी चूत को चाटने लगा। उसके चूत पर एक भी बाल नहीं था। मैंने उसके चूत को चाट-चाट कर गुलाबी कर दिया और उसका सारा जूस पी गया। वो बोलने लगी, “प्लीज प्रत्युष, जल्दी करो। मैं अब और नहीं रुक सकती।”
फिर मैंने कहा, “तुम भी एक बार मेरा जूस पीओगी” तो वो बोली, “मैंने कभी आज तक लंड मुँह में नहीं लिया है।” तो मैंने कहा कि मेरे ले लो और उसने मेरे लंड मुँह में ले लिया। धीरे-धीरे उसे भी मजा आने लगा और वो तो आइसक्रीम की तरह मेरे लंड चूसने-चाटने लगी।
थोड़े देर के बाद मैंने अपना सारा जूस उसके मुँह में डाल दिया तो वो पूरा का पूरा जूस पी गई और फिर मुस्कुराते हुए बोली, “मुझे तुम्हारा जूस बहुत अच्छा लगा।” हम दोनों फिर 69 की पोजीशन में हो गए और मैंने उसके चूत को चूसने लगा और वो मेरे लंड को फिर से चूसने-चाटने लगी।
और कुछ देर के बाद मेरा लंड फिर से खड़ा हो गया। मैंने फिर उसके दोनों पैरों को फैलाया और उसके चूत पर अपना लंड रखा तो मेरे लंड के टोपे से उसके चूत ढक चुके थे। मैंने उसके चूत पर अपना लंड ऐसे ही रगड़ता रहा तो वो बेचैन होकर बोली, “प्रत्युष प्लीज जल्दी डाल दो मेरे चूत में अपना लंड।”
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फिर मैंने उसके गाँड के नीचे एक तकिया लगाया और थोड़ा सा जोर लगाया तो उसके चूत तो एकदम टाइट लग रहे थे। थोड़ा सा अंदर जाने के बाद मैंने उसे पकड़ा और एक जोरदार धक्का मारा तो उसके चूत में मेरा लंड सिर्फ तीन इंच घुस पाया और उसके मुँह से जोरदार चीख निकल पड़ी, “आआआआईईईईई मार डाला प्लीज निकालो मैं मर जाऊँगी।”
मैंने नहीं रुका और मैंने जोर से तीन-चार धक्के मारे और पाँच इंच तक अंदर कर दिया। वो और जोर से चीख पड़ी, “आआईईईई माँ मार डाला प्रत्युष मेरी चूत फट गई है।” मैंने बोला, “कोई बात नहीं डार्लिंग।” फिर वो बोली, “प्लीज निकालो।” उसके चूत से खून बाहर आ रहा था।
मैंने उसके बूब्स को सहलाने लगा और उसके होंठों को चूमने लगा। थोड़े देर तक ऐसे ही लेटा रहा और फिर धीरे-धीरे अंदर-बाहर करना शुरू कर दिया और थोड़े देर के बाद तो वो नॉर्मल हो गई और फिर मेरे साथ देने लगी। फिर वो भी अपनी गाँड नीचे से उछाल-उछाल कर चुदाने लगी और मुस्कुराते हुए बोली, “कोई मुझसे तो तुमने मार ही डाला था। तुम्हारा लंड तो बहुत मोटा और लंबा है।”
फिर मैंने बोला, “अभी पूरा अंदर नहीं गया है” और उसे पकड़ कर एक जोरदार धक्का मारा तो वो फिर से चीख पड़ी, “उउईईई मरररररर गई फाड़ दे मेरी चूत को मैं मरररररर गई प्रत्युष धीरे करो ना।” मैंने कहा, “अब पूरा चला गया।” फिर मैंने अंदर-बाहर करने लगा तो थोड़े देर के बाद उसे भी मजा आने लगा और वो भी मेरे साथ देने लगी। थोड़े देर चोदने के बाद उसका पानी निकल गया।
मैंने चोदने की स्पीड बढ़ाई और फिर बीस-पच्चीस मिनट के बाद मैंने भी अपना सारा जूस उसके चूत में ही डाल दिया। हम दोनों एक-दूसरे को चूमने-चाटने लगे। मैं उठा और बाथरूम जाने लगा तो वो बोली, “प्रत्युष मुझे भी ले चलो क्योंकि मैं चल नहीं पा रही हूँ।” मैंने उसे अपनी गोद में उठाकर बाथरूम में ले गया और उसके चूत पूरे खून में हो रहे थे और मेरा लंड भी।
उसने मेरे लंड को पानी से साफ किया और मैंने उसके चूत को साफ किया। हम दोनों फिर से बिस्तर पर जाकर लेट गए और थोड़े देर के बाद वो मुझे चूमने-चाटने लगी और मुझसे कहने लगी, “प्रत्युष मुझे तुम्हारा लंड बहुत पसंद आया है और तुम बहुत अच्छे से चोदते हो।” ये कहकर वो मेरे लंड को प्यार करने लगी और मुँह में लेकर चूसने लगी और फिर से हम 69 की पोजीशन में हो गए।
थोड़े देर तक मैं उसके चूत चूसता रहा तो उसने पानी छोड़ दिया। फिर मैंने उसे डॉगी स्टाइल में चोदना शुरू कर दिया। मैंने उसके चूत पर अपना लंड रखा और एक जोरदार धक्का मारा तो मेरा लंड चार इंच अंदर चला गया तो वो जोर से चीख निकली, “आआआआईईईईईई मार डालोगे क्या धीरे-धीरे करो ना।” ये कहानी आप हमारी वासना डॉट नेट पर पढ़ रहे है.
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फिर मैंने उसके बूब्स को सहलाने लगा और फिर एक और जोरदार धक्का मारा और पूरा लंड अंदर डाल दिया और फिर से चीख निकली, “उउईईईई माँ मरररररर गई।” और मैंने उसे चोदने लगा और फिर धीरे-धीरे वो नॉर्मल हो गई और मेरे साथ देने लगी। दस मिनट चोदने के बाद उसका पानी निकल गया लेकिन मैंने उसे ऐसे ही चोदता रहा।
फिर मैंने स्टाइल चेंज कर ली। उसे अपने ऊपर ले लिया। वो दोनों पैरों को फैला कर मेरे लंड पर बैठने गई और दो-तीन धक्कों में ही पूरा लंड अंदर कर दिया। उसके फिर से चीख निकले, “उउईईई माँ मरररररर गई।” मैंने उसके बूब्स को सहलाने लगे और बोला, “कैसा लग रहा है?”
तो वो बोली, “मुझसे तो जन्नत के सैर लग रहे हैं। ऐसा मजा तो मुझे मेरे पति ने कभी नहीं दिया।” मुस्कुराते हुए बोली, “प्रत्युष मुझे चोद डालो, फाड़ दो मेरी चूत को और जोर से चोदो मुझे।” और मैंने उसे तेज से चोद रहा था। फिर मैंने उसके बूब्स और होंठों को चूसने लगा।
उसे भी मजा आ रहा था। इस तरह मैंने उसे चोदता रहा और फिर वो झड़ गई। मैंने उसे तीस-चालीस मिनट तक चोदता रहा और फिर मेरा भी जूस निकल गया और मैंने मेरे जूस से उसके पूरे चूत भर गया। हम दोनों थोड़े देर नंगे ही सो गए। रात भर मैंने उसे तीन-चार बार चोदा।
फिर सुबह वो उठी तो मुझसे बोली, “प्रत्युष मैं ठीक चल नहीं पा रही हूँ। मुझे नहाना है।” फिर हम दोनों ने साथ में नहाया। मैंने उसके पूरे बदन पर साबुन लगाया और उसने मेरे बदन पर साबुन लगाया। हम दोनों एक-दूसरे को चूमने-चाटने लगे और वो मेरे लंड को सहलाने लगी और मैंने भी उसके चूत को सहलाने लगा।
वो नीचे झुक कर मेरा लंड चूसने लगी और थोड़े देर चूसने के बाद मैंने उसे बाथरूम में डॉगी स्टाइल में चोदना शुरू कर दिया और बीस-पच्चीस मिनट चोदने के बाद हम दोनों नहाए और फिर वो नाश्ता बनाने चली गई। उसने सिर्फ रेड कलर ब्रा और पैंटी पहन रखी थी जिसमें वो बहुत सेक्सी लग रही थी।
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मैंने उसे किचन में ही ब्रा और पैंटी निकाल के और उसके बूब्स को चूसने लगा और उसे किचन स्टैंड पर बिठा दिया और फिर उसके दोनों पैरों को मेरे कंधे पर रखे और उसके चूत पर लंड रखा और तीन-चार धक्कों में पूरा अंदर डाल दिया और उसके मुँह से चीख निकल गई, “उउईईई माँ मार डाला प्रत्युष धीरे करो ना।”
लेकिन मैंने उसे चोदता रहा और बीस-चालीस मिनट तक चोदने तक वो तीन-चार बार झड़ चुकी थी। फिर हम दोनों ने नाश्ता किया और थोड़े देर आराम करने के बाद मैंने बाजार से एक ब्लू मूवी की सीडी लाया और हम दोनों ने साथ में देखी। मूवी के चलते ही हम दोनों एक-दूसरे को रोक नहीं पाए और एक-दूसरे को नंगा कर दिया और चूमने-चाटने लगे और काजल मेरे लंड चूसने लगी।
फिर मैंने उसे डॉगी स्टाइल में उसके गाँड में अपना लंड डालने लगा तो उसे बहुत ज्यादा डर हो रहा था। मैंने उसे जैसे-तैसे मनाया और धीरे-धीरे उसके गाँड में सिर्फ मेरे लंड का टोपा ही गया था कि वो चीखने-चिल्लाने लगी और बोली, “मुझे नहीं मरवाना गाँड।”
मैंने उसके बूब्स को पकड़ा और जोर-जोर से धक्के मारता चला गया और पूरा का पूरा लंड डाल दिया तो उसके मुँह से जोर से चीख निकल गई, “आईईईई माँ मार डाला प्रत्युष मैं मर गई उउउईईई माँ मार डाला।” दस-बारह मिनट के बाद वो नॉर्मल हो गई और मेरे साथ देने लगी। इस तरह उसके गाँड मारने लगा।
करीब बीस-तीस मिनट तक उसके गाँड मारता रहा और पाँच मिनट तक उसके चूत चोदने के बाद मैंने उसके चूत में ही पानी छोड़ दिया। दिन में दो बजे तक मैंने उसके गाँड तीन बार मार चुका था। फिर हम दोनों सो गए और शाम को खाना खाने बाहर चले गए। ये कहानी आप हमारी वासना डॉट नेट पर पढ़ रहे है.
रात को आठ बजे से हम दोनों नंगे ही लेट गए और बातें करने लगे। फिर हम दोनों एक-दूसरे को चूमना-चाटना शुरू कर दिया। काजल को मैंने उस रात करीब चार बार चूत और दो-तीन बार गाँड मारी। सुबह फिर से वो ऊपर बैठ कर मेरा लंड अंदर ले लिया लेकिन वो ठीक से ले नहीं पा रही थी क्योंकि उसे थोड़ा-थोड़ा दर्द हो रहा था।
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मैंने फिर उसका थोड़ा साथ दिया और उसकी चूत पर स्ट्रोक लगाने शुरू कर दिए. और वो सिसकियाँ ले रही थी, “स्स्सीईईई उफ्फ उफ्फ क्या लंड है प्रत्युष काश मैंने तुमसे शादी की होती उएएए माँ मार डाला प्रत्युष और जोर से चोदो मुझे।” और इस तरह चोदते-चोदते मेरा पानी उसके चूत में ही डाल दिया। हम दोनों साथ में नहाने के बाद आराम किया और खाना खाया। फिर हम दोनों सो गए और शाम को चार बजे हम दोनों एक-दूसरे को चूमने-चाटने लगे और मैंने उसे अपनी गोद में बिठाया.
और दो-तीन धक्कों में तो वो मेरा पूरा का पूरा लंड अंदर ले लिया और सिसकियाँ ले रही थी, “स्स्सीईईई उफ्फ उफ्फ क्या लंड है प्रत्युष तुम्हारा दिल करता है तुमसे दिन-रात चुदवाती रहूँ।” मैंने उसे शाम से लेकर सुबह तक छह-सात बार उसके चूत चोदे और दो-तीन बार उसके गाँड मारे। वो बोली, “आज तुमने मुझे वो मजा दिया है जिसके सपने मैंने बचपन से देखे थे। आई लव यू प्रत्युष।” इस तरह मैंने उसे बारह दिन तक चोदता रहा। उसके बाद अंकुश आ गया था। उसकी बाद हमें जब भी मौका मिलता हम दोनों नहीं चूकते थे।
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